रायपुर : केन्द्र और राज्य सरकार के समन्वित प्रयास
तथा नक्सलवाद के खात्मे के बाद अबूझमाड़ अब अबूझ नहीं रहेगा। यहां भी ग्रामीणों के
विकास के साथ-साथ रहवासी क्षेत्रों में अधोसंरचात्मक तथा मूलभूत सुविधाओं की
सुचारू व्यवस्था से पर्यटन का विकास होगा और क्षेत्रवासियों के लिए रोजगार के नये
अवसर उपलब्ध होंगे।
गौरतलब है कि पीएम जनमन योजना, धरती आबा, ग्राम उत्कर्ष अभियान के तहत जहां एक ओर
ग्रामीणों और रहवासी क्षेत्र का शत-प्रतिशत विकास किया जा रहा है वहीं राज्य सरकार
की महत्वकांक्षी नियद नेल्लानार योजना सहित शासन के विभिन्न जनकल्याणकारी योजनाओं
के बेहतर क्रियान्वयन से हो रहे विकास के साथ-साथ नक्सलवाद के खात्मे की ओर आगे भी
बढ़ रहे हैं। इससे अब अबूझमाड़ में भी विकास का नया सवेरा होगा। लोग खुली हवा में
निडरतापूर्वक सांस ले सकेंगे। वहां भी चमचमाती सड़कों का जाल बिछने लगा है।
बता दें कि बस्तर क्षेत्र में स्थित अबूझमाड़, छत्तीसगढ़ का एक पिछड़ा और आदिवासी बहुल क्षेत्र है, जो
विकास की दृष्टि से अभी भी उपेक्षित है। इस क्षेत्र के विकास के लिए केंद्र सरकार
ने पीएम जनमन और धरती आबा ग्राम उत्कर्ष अभियान जैसी महत्वपूर्ण योजनाएं शुरू की
हैं।
पीएम जनमन (प्रधानमंत्री जनजातीय जन विकास मिशन) के
तहत विशेष पिछड़ी जनजातियों के साथ ही आदिवासी समुदायों के विकास के लिए शिक्षा, स्वास्थ्य और आजीविका के अवसर उपलब्ध कराया जा रहा है। अबूझमाड़ में भी
आदिवासी बच्चों के लिए शिक्षा और स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार किया जा रहा है। वहीं
धरती आबा ग्राम उत्कर्ष अभियान के तहत आदिवासी गांवों के समग्र विकास के लिए काम
किया जा रहा है। इस अभियान से गांवों में बुनियादी सुविधाओं जैसे सड़क, पानी, और बिजली की व्यवस्था की जा रही है। साथ ही,
ग्रामीणों को आजीविका के अवसर प्रदान करने के लिए कौशल विकास और
स्वरोजगार की योजनाएं भी चलाई जा रही हैं।
इसमें पीएम जनमन और धरती आबा ग्राम उत्कर्ष अभियान
अबूझमाड़ के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं। इन योजनाओं के माध्यम से
आदिवासी समुदायों को शिक्षा, स्वास्थ्य,
और आजीविका के अवसर प्रदान किए जा रहे हैं। साथ ही, गांवों में बुनियादी सुविधाओं की व्यवस्था से ग्रामीणों का जीवन स्तर सुधर
रहा है।
प्रदेश के सुकमा, बीजापुर, दंतेवाड़ा, नारायणपुर और कांकेर जिले में नियद
नेल्लानार योजना क्रियान्वित की जा रही है, जिसमें इन जिलों
के कुल 8 विकासखंडो में 23 सुरक्षा
कैंपों के आसपास के 90 ग्रामों का विकास किया जा रहा है।
नियद नेल्लानार से तात्पर्य “आपका आदर्श ग्राम” है अर्थात् ऐसा ग्राम जहां पर निवासरत जनसंख्या को सभी मूलभूत सुविधाएं
उपलब्ध कराई जा चुकी हैं और अब वह अन्य क्षेत्रों की तरह विकास के पथ पर आगे बढ़ने
को अग्रसर है।
हम सब जानते हैं कि विशेष पिछड़ी जनजाति के लोग सुदूर
वनांचल की बसाहटों में किस तरह अपनी जिन्दगी गुजार रहे होते हैं। बरसात के दिनों
में उनके छोपड़ीनुमा घर रहने के लायक नहीं होते हैं। इस स्थिति को ध्यान में रखते
हुए पूरी केन्द्र और राज्य सरकार के संवेदनशीलता और समन्वित प्रयास से उनके लिए पक्के
आवासों का निर्माण कराया जा रहा है।
पीएम जनमन एवं धरती आबा जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान
और नियद नेल्ला नार योजना से जनजातीय इलाकों में की तस्वीर और तकदीर बदल रही है।
केन्द्र और छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा संचालित उक्त योजनाओं से बस्तर के अबूझमाड़ में
तेजी से बुनियादी सुविधाएं विकसित होने लगी है। अबूझमाड़ में एक ओर जहां चमचमाती
सड़कों की जाल बिछाई जा रही है, वहीं दूसरी ओर
ग्रामीणों के लिए स्वास्थ्य, शिक्षा, पेयजल
एवं विद्युत जैसी बुनियादी सुविधाएं भी तेजी से मुहैया भी कराई जा रही है। अब वह
दिन दूर नहीं कि जब अबूझमाड़ लोगों के लिए अबूझ नहीं रहेगा। अब अबूझमाड़ में विकास
का नया सूरज उग रहा है। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी और मुख्यमंत्री श्री
विष्णु देव साय के मार्गदर्शन और आदिम जाति कल्याण मंत्री श्री रामविचार नेताम के
विशेष प्रयासों से जनजातीय इलाकों की स्थिति और वहां के लोगों के जीवन को बेहतर
बनाने के लिए लगातार किए जा रहे कार्यों की बदौलत छत्तीसगढ़ के आदिवासी इलाकों में
बुनियादी सुविधाएं तेजी से पहुंचने लगी है।
छत्तीसगढ़ की जैव विविधता और ऐतिहासिक धरोहर बेमिसाल
हैं। पर्यटन की दृष्टि से यहां की ये दोनों खासियतें अभी तक ‘अनएक्सप्लोर्ड’ हैं। नक्सलवाद की समाप्ति के बाद अब
बस्तर भी जल्दी ही पर्यटन के लिए पूरी तरह खुल जाएगा। यह हिंदुस्तान का सबसे बड़ा
टूरिस्ट डेस्टिनेशन बन सकता है। छत्तीसगढ़ के जंगल बेहद मोहक हैं। यहां से बेहतर
जंगल और कहीं नहीं हैं। राज्य में हर तरह की कनेक्टिविटी बढ़ रही है। पर्यटन के
विकास में इसका बहुत लाभ मिलेगा।
पीएम जनमन और धरती आबा ग्राम उत्कर्ष अभियान अबूझमाड़
के विकास के लिए महत्वपूर्ण योजनाएं हैं। इन योजनाओं के माध्यम से आदिवासी
समुदायों को विकास की मुख्यधारा में शामिल किया जा रहा है। हमें उम्मीद है कि इन
योजनाओं के सफल क्रियान्वयन से अबूझमाड़ का भविष्य उज्ज्वल होगा।